दोस्तों मुझे पहले से ही बड़ी उम्र की लेडिज को देख के चोदने की इच्छा हो जाती हैं. और जब से मैं प्रो कबड्डी की लीग 5 देख रहा हूँ तब से मुठ मारने का काम बढ़ गया हैं. मेरा नाम विवेक है और मैं पूना के पास के एक गाँव का हूँ. कबड्डी की गेम में अम्पायर आते हैं उनमे एक लेडी अम्पायर ने मेरे लंड को काफी दिनो से परेशान किया हुआ है. वो जब पॉइंट दिखाने के लिए हाथ ऊपर करती हे तो मैं उसके मम्मे देखता हूँ. उसका पेट बहार को आया हुआ हे यानि की वो थोड़ी मोटी है लेकिन साली माल बड़ी गजब की हैं.
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वैसे मैंने अब तक जितनी रंडियों को चोदा है वो मेरे से उमर में कम से कम 15 20 साल बड़ी ही रही है. अभी मेरी एज 22 साल है और मैं कोलेज में पढ़ाई करता हूँ.
तो वापस इस लेडी अम्पायर पर आते है. वो बड़ी सेक्सी दिखती है. गोल चहरा बड़े मम्मे और गांड देखने का मौका अभी तक आया नहीं क्यूंकि कभी केमरेवाले ने ये काम मेरे लिए किया नहीं. मैं कबड्डी की वही मेच देखता हं जिसमे मेरी माल अम्पायर हो. नहीं तो मैं चेनल पलट देता हूँ.
अभी पिछले हफ्ते की बात है, मेरे मम्मी पापा और मेरी बहन घर पर नहीं थे. वो लोग एक रिश्तेदार के घर पर थे किसी पार्टी के लिए. और वो रात को 12 के करीब ही वापस आने थे. मैं कबड्डी का मेच ही देख रहा था. तभी मेरे दिमाग में तूफानी ख्याल आया. मैंने सब विंडो बंद कर दिए. फिर टॉयलेट रोल का एक पेक ले के आया. पूरा न्यूड हो के मैं अपनी माल अम्पायर को देखने लगा.
इधर मेरा लंड उसका बहार निकला हुआ पेट देख के कडक हो रहा था. जब वो पॉइंट को दीखाने के लिए हाथ ऊपर करती थी तो मैं उसके बूब्स का आकार उसकी टी शर्ट में बनता हुआ देखने लगा था.
मैं उठ के बाथरूम से साबुन ले के आ गया. और अपने लंड के ऊपर पानी डाला और साबुन को घिसने लगा. मेरे लंड के ऊपर सफ़ेद झाग बन रहा था और ऐसे में लंड हिलाने में अलग मजा भी आ रही थी.
मैंने आँखे बंद की और सोचने लगा की वो अम्पायर यहाँ होती तो मैं उसके साथ क्या करता. मैं फेंटसी वाली दुनिया में खो चुका था.
मैंने बंद आँखे रख के सोचा की वो अम्पायर अभी मेरे पास आकर बैठ गई. और उसने धीरे से अपने हाथ को मेरी जांघ के ऊपर रख दिया. ये सोच के मेरे लंड के अन्दर अजब सी झुनझुनी हुई. मेरे रोम रोम में आग भड़क उठी थी.
फिर उस अम्पायर ने धीरे से अपने हाथ को मेरी जांघ से आगे बढ़ा दिया और मेरे लंड को पकड़ा. वाह क्या फिलिंग आ रही थी. मेरा लंड साबुन के झाग के बिच में एकदम कडक हो चूका था. और मैं अब उसे हौले हौले से हिलाते हुए मेरी कबड्डी की अम्पायर को चोदने के खयालो में था.
अब वो अम्पायर ने निचे झुक के मेरे लवडे के ऊपर हलके से चूम लिया. मैंने उसके कोकोनट आयल लगे हुए बालों को पकड़ा और अपने लंड पर दबा दिया. वो काफी सेक्सी लग रही थी और उसके बालों में से बड़ी मादक खुसबू आ रही थी.
अब उसने मेरे लंड को अपने मुहं में ले लिया और चूसने लगी. मेरा हाथ पीछे उसकी कमर पर था. मैं वहां पर सहला रहा था. उसकी कबड्डी वाली टी शर्ट के अन्दर उसकी मोटी ब्रा की स्ट्रिप थी वो हाथ पर लगने की फिलिंग मुझे अभी हो रही थी जैसे!
मैंने अब टी शर्ट के निचे हाथ कर के ब्रा की स्ट्रिप को खोला. और फिर हाथ को उसकी गांड की फांक पर ले गया. उसके बड़े बड़े चूतड एकदम सेक्सी थे और वो भी अ ठन्डी आहें भर रही थी.
उसने लंड को पूरा मुहं में ले रखा था उसके बूब्स मेरी जांघो पर टच हो रहे थे, मेरी हालत कभी इतनी ख़राब नहीं हुई थी लंड को हिलाते हुए. आज मैं अपनी फेंटसी वाली औरत के साथ जैसे सच में ही सेक्स कर रहा था.
अब मैंने और जोर से लंड को हिलाना चालू कर दिया. मैं नहीं चाहता था की उसको चोदने के ख्याल के बिना मेरा पानी निकले. इसलिए मैंने अब कल्पना की की वो खड़ी हो गई और अपने सब कपडे उसने खुद ने ही निकाले.
और फिर वो अपने बड़े चूतड हिलाती हुई मेरे लंड के पास आ गई. उसने मेरे लंड को पकड़ा और मैंने उसके बूब्स को दबाये. वो हंस के बोली, चलो अब डाल दो मेरी पुसी में अपना कोक.
मैंने कहा मेरी गोद में आ जा मेरी रानी.
वो मेरे खड़े लंड के ऊपर बैठ गई. और मेरा लंड उसकी चूत में था. हम दोनों पागल कुत्तो के जैसे चोद रहे थे. मैंने कभी उसकी कमर के ऊपर किस कर रहा था तो कभी उसके निपल्स को सक कर रहा था.
उसके बदन से मेरी फेवरेट मोगरे की खुसबू आ रही थी. और उसकी पिचपिची चूत में बड़ा ही कसाव सा था. मई जोर जोर से उसे चोद रहा था.
और तभी मेरे लंड में खिंचाव आया. वीर्य गद्दे के ऊपर ना पड़े इसलिए मैंने टॉयलेट टिश्यू को रख दिया और सब वीर्य उसके अंदर ही गिरा दिया.
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ये सब एकदम पागलपन के जैसा ही था. कबड्डी की मेच ऐसी ही चल रही थी और वो अम्पायर पॉइंट दिखा रही थी. और मैं उसे अपने ख्यालों में ही चोद चूका था.
दोस्तों ये मेरी पहली सेक्स कहानी थी और मैंने जो दिल में आया वो लिखा है. क्या आप ने भी कभी किसी को ऐसे सोच के मुठ मारी हैं? जिसने मारी होगी उसको पता है की कैसे मजा आता है.